पानी और प्यास के बीच ,
जो रिश्ता एक अनोखा है ! वह रिश्ता तेरा मेरा है !! तू मेरी आँखों का पानी है , मैं प्यास तेरे जीवन की हूँ !! तू हर पल बहता रहता है , मेरी आँखों का मोती बन ! मैं हर पल बढ़ती रहती हूँ , तेरे रोम-रोम की इच्छा बन !! तेरे और मेरे बीच जो रिश्ता एक अनोखा है , ना अब तक तुझको मैं समझी हूँ ना ही तूने मुझको समझा है !! |
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